ताजा फल सेहत के लिए संजीवनी समान होते हैं। इनको खाने से आप कई बीमारियों से दूरी बना सकते हैं। किसी ने क्या खूब कहा भी है कि ‘प्रतिदिन एक सेब, डॉक्टर को दूर रखता है’। दरअसल, सेब विटामिन सी, पोटैशियम और कैल्शियम का अच्छा स्रोत होता है। फ्लेवोनोइड्स नामक महत्वपूर्ण एंटीऑक्सीडेंट से भी भरपूर सेब खाने से पुरानी बीमारियों का जोखिम कम होता है। यही वजह है कि ज्यादातर लोग सेब को डाइट में जरूर शामिल करते हैं। लेकिन बाजार से लाने के बाद इनका सेवन करने से पहले सावधानी जरूरी है।
बता दें कि, आजकल सेब को चमकाने के लिए इस पर वैक्स (मोम की परत) चढ़ाई जाती है, जोकि सेब का चमकदार बनाती है। ये सेहत के लिए हानिकारक हो सकती है। ऐसे में जरूरी है कि इनका सेवन करने से पहले वैक्स को हटा लें। अब सवाल कि आखिर क्या होती है मोम? क्या हैं इसके नुकसान? कैसे पता करें कि सेब पर मोम है कि नहीं? और सेब से वैक्स कैसे हटाएं?
आखिर सेब पर क्यों लगाया जाता है मोम?
वैक्स लगाने से सेब पर चमक आती है और वो दिखने में बेहतर लगते हैं। इससे लोग उस सेब की तरह अधिक आकर्षित होते हैं। वैक्स लगाने से मॉइश्चर भी सेब तक नहीं पहुंचता और सेब ज्यादा दिन तक बिना खराब हुए चलता है। दरअसल, खेतों से सेब तोड़ने के बाद, उत्पादक खेत की गंदगी या किसी भी पत्ते के कूड़े को हटाने के लिए उन्हें धोते हैं। इससे प्राकृतिक मोम भी धुल जाती है। इससे उसकी चमक भी चली जाती है। इसके बाद विक्रेता इसकी भरपाई के लिए खाद्य सिंथेटिक मोम का एक कोट लगाते हैं। मोम की कोटिंग नमी को सील करती है, जिससे फल का जीवन बढ़ जाता है।
वैक्स कोटिंग सेब खाने के नुकसान
जिस वैक्स की वजह से लोग सेब छीलकर खाने लगे हैं, वो शेलाक (shellac) और कार्नोबा (carnauba) होती है। वैक्स लगने के बाद सेब को खाने से कई तरह की दिक्कतें सामने आती हैं, जिसमें से एक अवायुश्वसन (anaerobic respiration) भी है। ये परेशानी इसलिए होती है क्योंकि वैक्स लगने के बाद फ्रूट ऑक्सीजन बैरियर की तरह काम करती है। वैक्स लगने के बाद सेब की क्वालिटी का भेष भी लगभग बदल जाता है। लेकिन इससे उसके स्वाद पर भी फर्क पड़ता है। सेब पर लगाई जाने वैक्स से डाइजेस्टिव सिस्टम पर भी फर्क पड़ता है। सेब की लाइफ बढ़ाने के लिए लगाई जाने वाली वैक्स को शरीर जल्दी से नहीं अपनाता, जिस वजह से वो बड़ी आंत के colon हिस्से और छोटी आंत को भी प्रभावित कर सकती है।
सेबों में मोम है या नहीं, ऐसे लगाएं पता
मिलावट के इस दौर में सेब भी अछूता नहीं रहा है। लोगों को आकर्षित करने के लिए सेब पर मोम चढ़ाया जाता है। यही वजह से लोगों ने इसे छीलकर खाना शुरू कर दिया। यदि आप यह पता लगाना चाहते हैं कि आपके सेबों में मोम है या नहीं, तो उन्हें एक कटोरे या सिंक में रखें और उन पर उबलता गर्म पानी डालें। इसके बाद आप देखेंगे कि छिलके के ऊपर एक सफेद, मोमी परत दिखाई देने लगेगी।
इन चार तरीकों से हटाएं सेब पर जमी मोम
गर्म पानी डालें: सेब पर चढ़ी मोम की परत उतारने के लिए थोड़ा सा पानी गुनगुना करें और इसमें एक चम्मच नमक डालें। फिर इसमें सेब को 2 मिनट के लिए डालकर रख दें। इस तरीके से वैक्स कोटिंग हट जाएगी।
सिरका का इस्तेमाल करें: मोम की परत को उतारने के लिए आप विनेगर का यूज कर सकते हैं। इसके लिए पानी में एक चम्मच सिरका डालें, और फिर इस मिक्सचर में सेब को कुछ देर के लिए डालकर छोड़ दें। इससे सेब पर चढ़ी मोम की परत उतर जाएगी।
बेकिंग सोडा की मदद लें: बेकिंग सोडा से भी वैक्स कोटिंग उतारने में मदद मिलेगी। मोम की परत उतारने के लिए 1 लीटर पानी में 2 चम्मच बेकिंग सोडा ओर नमक डालकर मिक्स करें। फिर इसेमें करीब पांच मिनट के लिए सेब डालकर छोड़ दें। इससे वैक्स कोटिंग हट जाएगी।
नींबू भी कारगर: नींबू के रस को पानी में मिक्स करें और फिर इसे एक किसी नैपकिन की मदद से सेब पर लगाएं। उसके बाद सेब को नैपकिन से साफ करें। इससे भी वैक्स कोटिंग उतारने में मदद मिलेगी।